मणिपुर हिंसा
मणिपुर उच्च न्यायालय
द्वारा मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने की अनुशंसा के बाद मणिपुर
में साम्प्रदायिक हिंसा भड़क गई।
मणिपुर की जातीय संरचना
मैदानी भाग/इम्फाल घाटी
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10% भू-भाग मैदानी है।
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मैतेई (Meitei) समुदाय बाहुल्य क्षेत्र
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यहाँ 64% जनसंख्या निवास करती है।
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यहाँ 60 में से 40 विधानसभा सीटों पर प्रतिनिधित्व है।
पहाड़ी भाग
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90% क्षेत्र पहाड़ी है।
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35% से अधिक जनजातियों का निवास स्थल है।
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60
में से 20 विधानसभा सीटों पर ही प्रतिनिधित्व
है
ST दर्जे की मांग के समर्थन में मैतेई समुदाय के
तर्क
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मैतेई
समुदाय की संस्कृति के संरक्षण हेतु ST दर्जा आवश्यक है।
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मैतेई समुदाय पहाड़ी भाग में प्रवेश पर प्रतिबंध है परन्तु पहाड़ी जनजाति
इंफाल घाटी में भूमि खरीद सकती है।
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बाहरी लोगों का अवैध प्रवेश बड़ी समस्या है।
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अनुसूचित जनजातियों के लिए नौकरियों में
आरक्षण ST
हेतु लाभ सृजित करता है।
मैतेई को अनुसूचित जनजाति दर्जे के विरोध में जनजातीय समूह के तर्क
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मैतेई समुदाय राजनैतिक एवं जनसंख्या की दृष्टि
से लाभ की स्थिति में है।
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मैतेई की भाषा (मणिपुरी) आठवी अनुसूची में
शामिल है।
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कुकी और नागा जनजाति के अनुसार राज्य के
भौगोलिक क्षेत्र का 90
प्रतिशत जनजाति क्षेत्र है, परन्तु बजट का बड़ा
भाग इंफाल घाटी के विकास कार्यों में खर्च होता है।
वर्तमान हिंसा के कारण
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कुकी ग्राम के निवासियों को हटाया गया।
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मैतेई के लिए अनुसूचित जनजाति दर्जे की मांग।
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म्यांमार से प्रवासियों की घुसपैठ।
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नशीले पदार्थों की समस्या के विरूद्ध सरकार के
सघन अभियान।
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उच्च न्यायालय के निर्णय के विरूद्ध (All Tribal student union manipur) द्वारा’’ जनजातीय एकजुटता रैली ’’ आयोजित हुई जिसके बाद हिंसा फैली।
मणिपुर हिंसा समाप्त करने हेतु प्रयास
दीर्घकालीन प्रयास :-
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म्यांमार से प्रवासियों की घूसपैठ को रोकना।
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लोकुर समिति, भूरिया आयोग, वर्जिनियस शाशा समितियों के मानदंड के आधार पर मैतई समुदाय के अनुसूचित
जनजाति दर्जे की मांग का मूल्यांकन किया जाए।
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सशस्त्र बल विशेष अधिकार अधिनियम 1958
में सुधार की आवश्यकता है।
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स्थानीय समूहों के शान्ति समझौते पर हस्ताक्षर
कराये जाए।
तत्कालीन प्रयास:-
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धारा 144 लागू करना।
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अत्यधिक हिंसा करने वालों को तत्काल गिरफ्तार
किया जाये।
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परिस्थिति कंट्रोल में ना होने पर राष्ट्रपति
शासन लगाया जा सकता है।
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हालात् कन्ट्रोल करने के लिए तत्काल सेना की
तैनाती करना।
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इंटरनेट सेवा तत्काल बंद करना।